Amarnath Yatra 2025: बिना रजिस्ट्रेशन’ वाले श्रद्धालुओं की भारी भीड़, प्रशासन हुआ चिंतित

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Amarnath Yatra 2025: बिना रजिस्ट्रेशन’ वाले श्रद्धालुओं की भारी भीड़, प्रशासन हुआ चिंतित

News India Live, Digital Desk: Amarnath Yatra 2025: देवभूमि उत्तराखंड और कश्मीर में भगवान भोलेनाथ की अमरनाथ यात्रा का विशेष महत्व है। बाबा बर्फानी के दर्शन के लिए लाखों श्रद्धालु हर साल कठिन यात्रा करते हैं। साल 2025 की अमरनाथ यात्रा के लिए पंजीकरण प्रक्रिया पहले ही शुरू हो चुकी है, लेकिन इस बार एक नई चुनौती सामने आ रही है। श्री अमरनाथ श्राइन बोर्ड (SASB) ने बताया है कि बड़ी संख्या में ऐसे तीर्थयात्री पहलगाम और बालटाल (यात्रा के आधार शिविर) पहुंच गए हैं, जिनके पास अभी तक वैध रजिस्ट्रेशन नहीं है! यह स्थिति प्रशासन के लिए चिंता का विषय बन सकती है।

क्यों है चिंता की बात?

अमरनाथ यात्रा एक चुनौतीपूर्ण और जोखिम भरी तीर्थयात्रा है, जो ऊबड़-खाबड़ पहाड़ी इलाकों और बदलते मौसम के बीच होती है। यात्रियों की सुरक्षा सुनिश्चित करने और उन्हें आवश्यक सुविधाएं प्रदान करने के लिए, हर तीर्थयात्री का विधिवत पंजीकरण अनिवार्य है। बिना पंजीकरण के इतनी बड़ी संख्या में तीर्थयात्रियों का बेस कैंप तक पहुंचना कई तरह की समस्याएं पैदा कर सकता है:

  1. सुरक्षा जोखिम: बिना पंजीकरण के यात्रियों को ट्रैक करना, आपात स्थिति में उनकी मदद करना, या किसी दुर्घटना की स्थिति में उन्हें ढूंढना बेहद मुश्किल हो जाएगा। यह आतंकवाद प्रभावित क्षेत्र भी है, जिससे सुरक्षा संबंधी चिंताएं बढ़ जाती हैं।

  2. सुविधाओं पर दबाव: बेस कैंपों में रहने, खाने और चिकित्सा सुविधाओं की व्यवस्था पंजीकृत तीर्थयात्रियों की संख्या के हिसाब से की जाती है। अतिरिक्त भीड़ से इन सुविधाओं पर भारी दबाव पड़ सकता है, जिससे गुणवत्ता प्रभावित होगी और अव्यवस्था फैल सकती है।

  3. मौसम संबंधी खतरे: हिमालय के ऊपरी क्षेत्रों में मौसम कभी भी बिगड़ सकता है। बिना रजिस्ट्रेशन वाले तीर्थयात्रियों के लिए मौसम की चेतावनी या अचानक आए खतरे से बचाव के उपाय पहुंचाना मुश्किल हो जाएगा।

  4. नियमों का उल्लंघन: यह सीधे तौर पर यात्रा के निर्धारित नियमों का उल्लंघन है, जिसे यात्रियों और प्रशासन दोनों को मुश्किल में डाल सकता है।

श्राइन बोर्ड और पुलिस की अपील:

SASB (Shri Amarnath Shrine Board) और स्थानीय पुलिस लगातार तीर्थयात्रियों से अपील कर रही है कि वे वैध पंजीकरण के बिना यात्रा पर न आएं। वे सभी तीर्थयात्रियों से यात्रा पर निकलने से पहले आधिकारिक तौर पर पंजीकरण कराने और अपना आरएफआईडी कार्ड (RFID Card) प्राप्त करने का आग्रह कर रहे हैं। आरएफआईडी कार्ड एक सुरक्षा उपकरण है जो अधिकारियों को यात्रा के दौरान तीर्थयात्रियों की आवाजाही को ट्रैक करने में मदद करता है।

यह समझना ज़रूरी है कि यह यात्रा केवल धार्मिक आस्था नहीं, बल्कि सुरक्षा, व्यवस्था और नियमों का पालन भी मांगती है ताकि सभी यात्री सुरक्षित रूप से बाबा बर्फानी के दर्शन कर सकें।

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